Tuesday, July 7, 2020

Goddess of time

बात उन दिनों की है जब मैं हाई स्कूल में थी, उस साल के जो एग्जाम सभी पेपर बहुत अच्छे गये और आखिरी पेपर सामाजिक विषय II (दूसरा ) था।
सामाजिक विषय का प्रथम प्रश्नपत्र बहुत अच्छा गया था हम थोड़े से लापरवाह हो गये उस रात हम दो बजे ही सो गये जबकि रोज सुबह 4 बजे तक पढ़ते थे।
मेरी लापरवाही का यह नतीजा हुआ कि हम देर तक सोते रह गये आँख खुली, घड़ी देखी 7 बज रहे थे, जबकि 7 बजे एग्जाम शुरू हो जाता था।
हम घबड़ा गये, जल्दी-जल्दी बिना ब्रश किये ही बस ड्रेस पहन कर स्कूल भागे।
वहाँ रोल न0 के हिसाब से रोज रूम खोजना होता था, हम जल्दी-जल्दी अपना रूम खोजने लगे और जब रूम मिला तब तक 8.15 हो चुका था। टीचर ने मुझे बहुत डॉटा कहा कि अब क्या एग्जाम दोगी, जाओ घर जाकर मस्ती से सो जाओे,------
हम लगातार रोये जा रहे थे।
टीचर के हाथ-पैर जोड़कर कापी पेपर माँगा, अब सिर्फ डेढ़ घंटा बचा था, कुछ समझ नहीं आ रहा था, बस हम लागातार रोये जा रहे थे।
क्या लिखें ? क्या करें ?
जितना याद किया था, वो सब भी भुलने लगे कुछ याद ही नहीं आ रहा था क्या लिखे।
मेरी कापी के पन्ने मेरे जवाबो से नहीं आँसूओं से भीग रहे थे।
अचानक मेरे कानों में किसी के हँसी की आवाज आयी, मैंने आस-पास नजर उठाकर देखा कोई नहीं था, मैं अब लिखने लगी कि फिर वह खनकदार हँसी की आवाज मेरे कानों में पड़ी थी।
नजर घुमा कर देखा एक स्त्री हवा में तैर रही थी, जिसके बाल काफी लम्बे, घने, काले व खुले थे।
उसने बिलकुल सफेद रंग का लहंगा चुनरी पहना हुआ था वह हवा मेंं तैर रही थी।
उसका शांत चेहरा देखकर मुझे डर बिल्कुल नहीं लग रहा था।
वो मुझे देखकर मुस्कुरा रही थी, उसकी हँसी अब थम चुकी थी।
मैं एकटक उस स्त्री के चेहरे की जादुई कशिश को देखे जा रही थी।
उसने मुस्कुरा कर कहा-’’मैं समय की देवी हूँ, समय मेरे वश में है, जो इन्सान समय की परवाह नहीं करता, वो कितनी भी मेहनत कर ले पर वह सफल नहीं होता, लगातार कोशिशें, मेहनत सब तब ही काम करता जब लोग मेरी यानि समय की देवी की परवाह करते ..... इसी के साथ वो हँसती हुयी हवा में अदृश्य हो गयी।‘‘
और मेरी आँख खुल गयी, घड़ी देखा सुबह के पाँच बज रहे थे।
वो सब एक सपना था, मुझे देर नहीं हुयी थी।
देर होती भी कैसे मुझे जगाने समय की देवी खुद आयी थी । तब से हमने गाँठ बाँध ली।
हमेशा समय की कद्र करना सीख गयी। मुझे पापा और समय की देवी की सीख हमेशा याद रही, जिसके वजह से मुझे पढ़ाई में कभी दिक्कत नहीं आयी।

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